पित्त को संतुलित करने वाले 5 मुख्य आहार, DCT है सबसे जरूरी

एक स्वस्थ शरीर के लिए वात, पित्त और कफ का संतुलित रखना बेहद आवश्यक है। आज हम मुख्य तौर पर पित्त को balanced रखने से संबंधित जानकारी पर focus करने जा रहे हैं। आयुर्वेद में ऐसा कहा गया है कि, पित्त का संतुलन पूरी तरह से आपकी Gut Health पर निर्भर करता है। यदि आपका गट healthy है तो आपको पित्त से जुड़ी समस्याएं जैसे गैस, एसिडिटी, अपच, कब्ज आदि से नहीं ग्रसित होना पड़ेगा। पित्त दोष को trigger करने वाला मौसम है गर्मी, अपने भी अनुभव किया होगा कि, गर्मी के मौसम में ज्यादातर, बाहर का, तैलीय, फ्राई और बासी खाना खाने से पित्त से जुड़ी दिक्कतें होने लगती हैं। इस मौसम में अक्सर गैस, अपच और एसिडिटी की समस्या बनी रहती है। ऐसे में लोग chemical से भरपूर cold drinks का ज्यादा से ज्यादा सेवन करते हैं जिससे थोड़ी देर के लिए भले ही राहत मिल जाती हो लेकिन long-term के लिए यह आपके शरीर पर serious negative impact डालता है। 

दूसरी तरफ यदि हम पित्त को control करने के लिए हमारी सभ्यता के परखे आयुर्वेदिक नुस्खों और औषधियों का इस्तेमाल करें तो इससे काफी ज्यादा लाभ मिल सकता है। आपकी पित्त को संतुलित रखने के लिए Maharishi Ayurveda आपके लिए लेकर आया है Digestive Care Therapy या DCT, इसे विशेष रूप से आपकी Gut Health के लिए बनाया गया है। इससे पित्त को संतुलित रखने में भी काफी मदद मिलती है। इसके साथ ही साथ आइये जानते हैं पित्त को संतुलित रखने वाले दस प्रमुख आहार और DCT के कुछ खास benefits के बारे में

DCT क्या है और यह कैसे आपके लिए उपयोगी है ?

मानव शरीर में Digestive Fire या पाचन अग्नि को आयुर्वेद में overall Gut के लिए बेहद महत्वपूर्ण माना गया है। A proper and balanced Digestive Fire एक मजबूत और सेहतमंद पाचन तंत्र के लिए विशेष रूप से फायदेमंद है। हमारे पाचन तंत्र या Digestive System की मजबूती विशेष रूप से हमारे lifestyle और food habits पर निर्भर करता है। हम क्या खाते हैं, किस तापमान पर खाते हैं और कब खाते हैं इस सबका सीधा प्रभाव हमारे पाचन तंत्र और गट पर पड़ता है। इसका परिणाम होता है पित्त का असंतुलित होना और पेट से जुड़ी विभिन्न समस्याओं का कारण बनना। Unhealthy Digestive system खासतौर से gas, acidity, difficult bowel movement, indigestion का कारण बनते हैं। हालांकि अब आपके लिए इन समस्याओं से निदान पाना काफी आसान हो गया है क्योंकि Maharishi Ayurveda आपके लिए लेकर आया है एक ख़ास Digestive Care Therapy जो Digestive issues के root cause को ख़त्म कर पाचन अग्नि को बैलेंस रखने के साथ ही पित्त को संतुलित रखने में भी मददगार है। 

Benefits of Maharishi Ayurveda’s  DCT/ डाइजेस्टिव केयर थेरेपी की विशेषताएं 

DCTबिगड़ी हुई लाइफस्टाइल और unhealthy food habit शरीर में दोषों को असंतुलित करते हैं। इसके कारण पाचन से संबंधित विभिन्न समस्याओं से हमें जूझना पड़ सकता है। Maharishi Ayurveda का DCT या Digestive Care Therapy विशेष रूप से पाचन अग्नि को मजबूती देने, दोषों को संतुलित रखने और digestive system को बैलेंस रखने के उद्देश्य से बनाया गया है। 100% natural जड़ी बूटियों से बने DCT में आपको मिलता है अमलंत, त्रिफला और डिजोमैप का गुणकारी कॉम्बो। आयुर्वेद में उन्हें Dosha balancing ayurvedic formula भी कहा गया है। DCT के एक डिब्बे में आपको मिलता है Amlant, Triphala और Dizomap की 60 गोलियां। 

  • Amlant/अमलंत : यह पेट के pH बैलेंस को बनाए रखने और एसिडिटी की समस्या का निदान करने में सहायक है। अमलंत में आयुर्वेद के चार प्रमुख जड़ी-बूटियों आंवला, सुंथी, हरितकी, और वेदांग का इस्तेमाल किया गया है। यह सभी पाचन शक्ति को मजबूत बनाने और एसिडिटी से छुटकारा दिलाने में फायदेमंद होते हैं। अमलंत विशेष रूप से acidity recurrence को रोकने में विशेष रूप से लाभकारी माना गया है। 
  • Triphala/त्रिफला : इसे आयुर्वेद में herbal laxative for clean gut के नाम से भी जाना जाता है। त्रिफला खासतौर से कफ और पित्त दोष को बैलेंस करने में मददगार है। रोजाना खाना खाने के बाद सोने से पहले इसकी 3-4 गोलियां आपको कब्ज की समस्या से छुटकारा दिलाती है। इसे एक बेहतरीन body detoxification के लिए भी जाना जाता है, यह शरीर से टॉक्सिन को निकालने के लिए भी काफी अच्छा माना जाता है। इसमें आंवला, हरीतकी और विभीतकी तीन बेहद खास जड़ी-बूटियों का मिश्रण पाया जाता है। 
  • Dizomap/डीजोमैप : यह खास आयुर्वेदिक प्रोडक्ट विशेष रूप से intestinal flora को सुरक्षित रखने में मददगार होते हैं। इसे एक 100% natural हेल्दी डाइजेशन केयर के तौर पर बनाया गया है। इसे सौंफ, सौंठ और हड़द जैसे गुणकारी जड़ी-बूटियों का इस्तेमाल किया गया है जिसे पाचन तंत्र के लिए बेहद लाभकारी माना जाता है। यह अपच या indigestion की समस्या को दूर करने में काफी मददगार है। इसकी एक से दो गोलियां रोजाना खाने के बाद गर्म पानी के साथ लेना काफी असरदार माना जाता है। 
  • पित्त को संतुलित रखने वाले Top 5 Food Items 

  • नारियल पानी Coconut Water : पित्त को ठंडा रखने और विभिन्न प्रकार के Gut disease जैसे की indigestion, gas और acidity की समस्या को दूर करने के लिए आयुर्वेद में नारियल पानी को सबसे बेहतरीन उपाय माना गया है। इसका सेवन गर्मियों में विशेष रूप से सुबह खाली पेट करने से आपको पित्त से संबंधित परेशानियों से निजात मिल सकता है। इसमें electrolytes होने की वजह से यह पित्त को संतुलित रखने में काफी फायदेमंद होता है। 
  • नींबू पानी Lemon Water : Pitt को control करने में और गट हेल्थ को मजबूती देने के लिए Lemon water या नींबू पानी को भी बहुत ही फायदेमंद माना गया है। यदि आप विशेष रूप से गर्मियों में एक गिलास carbonated drinks की जगह पर एक ग्लास नींबू पानी लेते हैं तो इसके अद्भुत फायदे आपको देखने को मिल सकते हैं। 
  • छाछ Buttermilk : छाछ का सेवन हमारे संपूर्ण Gut Health के लिए काफी फायदेमंद माना गया है। यह खाना पचाने और कब्ज की समस्या को दूर करके पित्त को संतुलित रखने में काफी मददगार है। घर में बनाकर इस्तेमाल किया जाने वाला buttermilk गर्मी के दिनों में आपको काफी ज्यादा राहत दे सकता है। 
  • खीरा Cucumber : खीरा को एक natural cooler के नाम से भी जाना जाता है। आयुर्वेद में विशेष रूप से इस खास आहार को पित्त संतुलन और digestion से जुड़ी दिक्कतों को दूर करने के लिए इस्तेमाल लाया जाता है। तासीर में ठंडा होने की वजह से यह पित्त को शांत रखने में सहायक होता है। रोजाना इसे अपनी डाइट में शामिल करने से आपको पित्त से जुड़ी समस्याओं से राहत मिल सकती है। 
  • पुदीना Mint : आयुर्वेद में पुदीना को विशेष रूप से overall digestive system के लिए काफी उपयोगी माना गया है। यह मुख्य रूप से पेट और गट से जुड़ी समस्याओं को दूर करने और पित्त को संतुलित रखने में मददगार है। खासतौर से इसका सेवन गर्मियों में करने से अविश्वसनीय परिणाम मिल सकता है।